भारतीय शतरंज का अगुवा ‘मद्रास टाइगर'

Posted on 30-May-2015 04:04 PM




    भारत में शतरंज जैसे पारंपरिक खेल को ऊंचाइयों तक पहुंचाने में अगर किसी खिलाड़ी को श्रेय जाता है तो वह हैं ‘मद्रास टाइगर’ और ‘विशी’ के उपनामों से प्रसिद्ध विश्वनाथन आनंद. दो खिलाडघ्यिों के बीच खेला जाने वाला बौद्धिक एवं मनोरंजक खेल शतरंज का प्रतिनिधित्व पूरे विश्व भर में विश्वनाथन आनंद पिछले कई सालों से करते आ रहे हैं. हालांकि हाल में उनका प्रदर्शन बहुत ही निराशाजनक रहा है. हाल ही में नार्वे के 22 साल के होनहार मैग्नस कार्लसन ने भारत के विश्वनाथन आनंद की बादशाहत को खत्म करते हुए यह सर्वोच्च मुकाम हासिल किया।

विश्वनाथन आनंद के जीवन से जुड़ी कुछ बातें:-
1. विश्वनाथन आनंद का जन्म 11 दिसंबर, 1969 को तमिलनाडु के मायिलादुथुरै में हुआ।
2. छह साल की उम्र से ही विश्वनाथन आनंद अपनी मां के साथ शतरंज की बिसात पर चालें चला करते थे।
3. 14 साल की उम्र में आनंद ने नेशनल सब-जूनियर लेवल पर जीता. साल 1984 में 16 साल की उम्र में उन्होंने नेशनल चैंपियनशिप जीतकर सबको चैंका दिया और उन्होंने ऐसा लगातार दो साल किया।
3. 1987 में वल्र्ड जूनियर चेस चैम्पियन शिप जीतने वाले वह पहले भारतीय बने. यही वही साल था जब आनंद भारत के पहले खिलाड़ी बने जिसने वल्र्ड जूनियर चेस जीती. साल 1988 में वह 18 साल की उम्र में ही भारत के पहले विश्वनाथन आनंद के जीवन से जुड़ी कुछ बातेंरू.
1 विश्वनाथन आनंद का जन्म 11 दिसंबरए 1969 को तमिलनाडु के मायिलादुथुरै में हुआ।
2 छह साल की उम्र से ही विश्वनाथन आनंद अपनी मां के साथ शतरंज की बिसात पर चालें चला करते थे।
3 14 साल की उम्र में आनंद ने नेशनल सब.जूनियर लेवल पर जीताण् साल 1984 में 16 साल की उम्र में उन्होंने नेशनल चैंपियनशिप जीतकर सबको चैंका दिया और उन्होंने ऐसा लगातार दो साल किया।
4 1987 में वल्र्ड जूनियर चेस चैम्पियन शिप जीतने वाले वह पहले भारतीय बनेण् यही वही साल था जब आनंद भारत के पहले खिलाड़ी बने जिसने वल्र्ड जूनियर चेस जीतीण् साल 1988 में वह 18 साल की उम्र में ही भारत के पहले साल 1985 में उन्हें खेल के क्षेत्र में बेहतरीन योगदान देने के लिए “अर्जुन अवार्ड” से सम्मानित किया गया था।
8. साल 1991-92 में वह पहले ऐसे खिलाड़ी बने जिन्हें “राजीव गांधी खेल रत्न” से सम्मानित किया गया।
9. साल 1987 में पद्मश्री, राष्ट्रीय नागरिक पुरस्कार और सोवियत लैंड नेहरू पुरस्कार से भी आनंद को नवाजा गया था।
10.  साल 2007 में उन्हें “पद्म विभूषण” से सम्मानित किया गया।
11.  1997, 1998, 2003, 2004, 2007 और 2008 में उन्होंने “शतरंज ऑस्कर” जीता।
12.  हाल ही में पांच बार के विश्व शतरंज चैंपियन विश्वनाथन आनंद को उनके योगदान को देखते हुए भारत रत्न देने की मांग की गई।


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